आखिर हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड ने सेमेस्टर सिस्टम से धीरे-धीरे हाथ पीछे लेने शुरू कर दिए हैं। अब प्रदेश में दसवीं व बारहवीं कक्षा के प्रथम सेमेस्टर की परीक्षाएं स्कूल स्तर पर ही आयोजित होंगी जबकि केवल फाइनल परीक्षाएं ही बोर्ड प्रशासन आयोजित करेगा। 1हर छह माह में परीक्षाओं के साथ-साथ एचटेट, डीएड व अन्य महत्वपूर्ण परीक्षाओं का भार बोर्ड की कार्यशैली पर प्रभाव डाल रहा था। इसके अलावा छात्रों को भी अब सिलेबस पूरा करने के लिए पूरा समय मिलेगा। सूत्र बताते हैं कि बृहस्पतिवार को चंडीगढ़ में शिक्षा
बोर्ड के उच्चधिकारियों की शिक्षा विभाग की वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव सुरीना राजन के साथ महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई थी। इस बैठक में सेमेस्टर सिस्टम को लेकर बड़ा फैसला किया गया। इसके तहत अब शिक्षा बोर्ड प्रशासन दसवीं व बारहवीं कक्षा में सेमेस्टर सिस्टम तो लागू रखेगा, लेकिन पहले सेमेस्टर की परीक्षाएं संचालित नहीं करेगा। हालांकि प्रथम सेमेस्टर के प्रश्न पत्र शिक्षा बोर्ड द्वारा ही जारी किए जाएंगे। इसके साथ ही पहले सेमेस्टर का परीक्षा परिणाम आने तक का इंतजार भी छात्रों को नहीं करना होगा। परीक्षाएं समाप्त होते ही कक्षाएं शुरू करवा दी जाएंगी। इससे छात्रों का सिलेबस पूरा करने में भी आसानी रहेगी। परीक्षा में फेल होने पर छात्र को दोबारा से परीक्षा देने का मौका भी दिया जाएगा। यह भी निश्चित किया गया है कि प्रथम सेमेस्टर की परीक्षाओं के बीच में 1 से अधिक दिनों की छुट्टियां नहीं की जाएंगी ताकि परीक्षाओं के चलते अधिक समय बर्बाद होने से बचाया जा सके। यह महत्वपूर्ण फैसला इसी सत्र से लागू कर दिया जाएगा। इस संबंध में शिक्षा बोर्ड के एक उच्चधिकारी ने पुष्टि की है
बोर्ड के उच्चधिकारियों की शिक्षा विभाग की वित्तायुक्त एवं प्रधान सचिव सुरीना राजन के साथ महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई थी। इस बैठक में सेमेस्टर सिस्टम को लेकर बड़ा फैसला किया गया। इसके तहत अब शिक्षा बोर्ड प्रशासन दसवीं व बारहवीं कक्षा में सेमेस्टर सिस्टम तो लागू रखेगा, लेकिन पहले सेमेस्टर की परीक्षाएं संचालित नहीं करेगा। हालांकि प्रथम सेमेस्टर के प्रश्न पत्र शिक्षा बोर्ड द्वारा ही जारी किए जाएंगे। इसके साथ ही पहले सेमेस्टर का परीक्षा परिणाम आने तक का इंतजार भी छात्रों को नहीं करना होगा। परीक्षाएं समाप्त होते ही कक्षाएं शुरू करवा दी जाएंगी। इससे छात्रों का सिलेबस पूरा करने में भी आसानी रहेगी। परीक्षा में फेल होने पर छात्र को दोबारा से परीक्षा देने का मौका भी दिया जाएगा। यह भी निश्चित किया गया है कि प्रथम सेमेस्टर की परीक्षाओं के बीच में 1 से अधिक दिनों की छुट्टियां नहीं की जाएंगी ताकि परीक्षाओं के चलते अधिक समय बर्बाद होने से बचाया जा सके। यह महत्वपूर्ण फैसला इसी सत्र से लागू कर दिया जाएगा। इस संबंध में शिक्षा बोर्ड के एक उच्चधिकारी ने पुष्टि की है
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